Homeउत्तराखण्ड न्यूजइजराइली सैनिकों की गोलीबारी में गाजा में 51 लोगों की मौत: रिपोर्ट

इजराइली सैनिकों की गोलीबारी में गाजा में 51 लोगों की मौत: रिपोर्ट


गाजा सिटी: गाजा में हालिया इजराइली हमलों में कम से कम 51 फिलिस्तीनी मारे गए. इजराइली सेना अपनी निकासी योजना को लागू करने के लिए गाजा शहर के अंदरूनी हिस्से में आगे बढ़ रही है. अल जजीरा ने चिकित्सा सूत्रों का हवाला देते हुए इसकी रिपोर्ट दी है.

अल जजीरा अरबी ने कुछ फुटेज प्राप्त किए हैं जिनमें इजराइली टैंक गाजा शहर के सबरा इलाके में घुसते हुए दिखाई दे रहे हैं. ये जमीनी हमले के विस्तार का संकेत देते हैं. सबरा घेरे हुए जितून इलाके के पास स्थित है जहाँ पिछले हफ्ते इजराइली हमले तेज हो गए.

गाजा शहर के अल-अहली अस्पताल में अल जजीरा के एक सूत्र ने पुष्टि की कि सबरा में नवीनतम बमबारी में एक बच्चा मारा गया. रिपोर्ट के अनुसार शनिवार को इजराइली तोपखाने ने दक्षिणी गाजा में खान यूनिस के उत्तर-पश्चिम में असदा क्षेत्र में विस्थापित परिवारों के लिए बने तंबुओं पर हमला किया. इसमें छह बच्चों सहित 16 लोग मारे गए.

मानवीय सहायता की तलाश में निकले कम से कम 16 फिलिस्तीनी भी मारे गए. इनमें से एक फिलिस्तीनी की खान यूनिस के दक्षिण-पूर्व में ‘मोराग अक्ष’ के पास एक वितरण केंद्र के पास गोली मारकर हत्या कर दी गई, जबकि एक अन्य नागरिक की इजराइली नियंत्रण वाले नेत्जारिम कॉरिडोर के पास मौत हो गई.

इससे पहले फिलिस्तीनी स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि पिछले 24 घंटों में दो बच्चों सहित आठ और फिलिस्तीनियों की कुपोषण से मृत्यु हो गई. इससे लगभग दो साल पहले संघर्ष शुरू होने के बाद से मरने वालों की कुल संख्या 281 हो गई. अल जजीरा की रिपोर्ट के अनुसार गाजा के स्वास्थ्य मंत्रालय के महानिदेशक मुनीर अल-बुर्श ने सोशल मीडिया पर बताया कि पीड़ितों में 114 बच्चे भी शामिल हैं.

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने शुक्रवार को गाजा की स्थिति पर दुख जताया. वहां की हालत अत्यंत दयनीय है. आधिकारिक तौर पर अकाल की घोषणा कर दी गई. संयुक्त राष्ट्र के अनुसार 5 लाख से अधिक फिलिस्तीनी अकाल की स्थिति का सामना कर रहे हैं. भुखमरी, गरीबी और तंगी से लोगों की मौत हो रही है.

गुटेरेस ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, ‘जब ऐसा लगता है कि गाजा में जीवित नरक का वर्णन करने के लिए कोई शब्द नहीं बचा है, तो एक नया शब्द जुड़ गया है, ‘अकाल’. इस बीच, इजराइल ने आरोपों को ‘फर्जी अभियान’ करार दिया है.

इजराइल के विदेश मंत्रालय ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, ‘आईपीसी ने अपने वैश्विक मानक को बदल दिया है. केवल इस रिपोर्ट के लिए 30फीसदी की सीमा को घटाकर 15 प्रतिशत कर दिया है. वहीं मृत्यु दर के अपने दूसरे मानदंड को पूरी तरह से नजरअंदाज कर दिया है. केवल हमास के फर्जी अभियान की सेवा के लिए.’

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