लेफ्टिनेंट जनरल राजीव घई (ANI)
नई दिल्ली: ऑपरेशन सिंदूर का नेतृत्व करने वाले सैन्य अभियान महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल राजीव घई ने मंगलवार को कई बड़े खुलासे किए. उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर का जवाब देने के पाकिस्तान के प्रयास बुरी तरह विफल रहे. वहीं भारतीय सेना ने तीन हैंगर और चार रडार सहित 11 पाकिस्तानी हवाई ठिकानों को नष्ट कर दिया.
डीजीएमओ ने नई दिल्ली में संयुक्त राष्ट्र सैन्य योगदान देने वाले देशों (यूएनटीसीसी) के प्रमुखों के सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय सेना ने एक सी-130 श्रेणी का विमान, एक एयरबोर्न अर्ली वार्निंग (एईडब्ल्यू) विमान और कम से कम चार से पांच लड़ाकू विमानों को भी नष्ट कर दिया. सेना अधिकारी ने कहा कि पाकिस्तानी ड्रोनों का प्रक्षेपण दोनों पक्षों के डीजीएमओ के एक-दूसरे से बात करने के बाद हुआ.
#WATCH | Delhi | Director General Military Operations Lt Gen Rajiv Ghai says, ” the indian navy was also in action… the navy had sailed into the arabian sea and when the dgmo spoke, they were very well poised. had the enemy decided to take it any further, it could have been… pic.twitter.com/lK5dhQkHY6
— ANI (@ANI) October 14, 2025
लेफ्टिनेंट जनरल ने कहा, ‘हमें पक्का पता है कि एक सी-130 श्रेणी का विमान और एक एईडब्ल्यू, चार से पाँच लड़ाकू विमान और निश्चित रूप से कुछ अन्य संपत्तियाँ भी हवा में नष्ट कर दी गई. अब हम जानते हैं कि दुनिया का अब तक का सबसे लंबा जमीन से हवा में 300 किलोमीटर से ज्यादा दूरी तक मार करने वाला विमान और पाँच उच्च तकनीक वाले लड़ाकू विमान नष्ट कर दिए गए. मुझे लगता है कि जिस बेबाकी से ये हमले किए गए, वह महत्वपूर्ण है.’
ऑपरेशन सिंदूर के बाद हमले की पाकिस्तानी कोशिशों की अंततः विफलता के बारे में बात करते हुए लेफ्टिनेंट जनरल घई ने भारत की मजबूत वायु रक्षा प्रणाली को श्रेय दिया. इसके बदौलत ड्रोन को मार गिराया जा सका और पाकिस्तानी कार्रवाई को विफल किया जा सका.
उन्होंने कहा, ‘कुछ मुठभेड़ें, जवाबी कार्रवाई, रॉकेट, ड्रोन, मुझे लगता है कि सब कुछ बुरी तरह विफल रहे. मुझे लगता है कि इसका एक बड़ा कारण हमारी बेहद मजबूत एकीकृत वायु रक्षा प्रणाली थी. पाकिस्तान द्वारा भारतीय सीमा पर ड्रोन हमले के बाद भारतीय वायु सेना ने भी कार्रवाई शुरू की और 8 और 9 मई की रात को एक अभियान शुरू किया.
इसके बाद जैसा कि आप जानते हैं भारतीय वायु सेना को कार्रवाई के लिए प्रेरित किया और 9 और 10 मई की रात को सटीक हमले किए. अब हमने उनके 11 हवाई ठिकानों पर हमला किया है. मुझे लगता है कि हाल ही में वायुसेना प्रमुख ने इस बारे में बात की है. अगर आप देखें तो आठ हवाई अड्डे, तीन हैंगर और चार रडार क्षतिग्रस्त हो गए.
डीजीएमओ ने खुलासा किया कि भारतीय नौसेना भी अरब सागर में पहुँच गई थी और अगर पाकिस्तान आगे बढ़ने का फैसला करता है तो जवाबी कार्रवाई करने के लिए तैयार थी. अगर दुश्मन ने इसे और आगे बढ़ाने का फैसला किया होता, तो यह उनके लिए विनाशकारी हो सकता था न केवल समुद्र से बल्कि अन्य आयामों से भी.’
पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में भारत ने इस साल मई में पाकिस्तान और पीओजेके में आतंकी ढाँचों पर सटीक हमले किए थे. भारतीय सशस्त्र बलों ने इसके बाद हुए पाकिस्तानी आक्रमण को प्रभावी ढंग से विफल कर दिया और उसके हवाई ठिकानों पर बमबारी की. पाकिस्तान के डीजीएमओ ने अपने भारतीय समकक्ष को फोन किया और दोनों देश युद्ध समाप्ति पर सहमत हुए.

